- पन्ना में साकार हो रहा जनभागीदारी से बाघ संरक्षण का नारा
- वन क्षेत्र से लगे ग्रामों में चलाया जा रहा है जागरूकता अभियान
जरधोवा गाँव के ग्रामीणों को समझाईश देते हुये वन अधिकारी। |
अरुण सिंह,पन्ना। जंगल व वन्य जीवों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिये म.प्र. के पन्ना टाईगर रिजर्व में एक अभिनव पहल शुरू की गई है, जिसका असर वन क्षेत्र से लगे ग्रामों में नजर आने लगा है। अब ग्रामीण खुद आगे आकर वन व वन्य प्राणियों की सुरक्षा हेतु अपनी भागीदारी निभा रहे हैं। ऐसा संभव हुआ है वन क्षेत्र के तकरीबन डेढ़ दर्जन ग्रामों में पार्क प्रबंधन द्वारा जागरूकता अभियान चलाने से, जिससे प्रेरित होकर ग्रामवासी जनसमर्थन से बाघ संरक्षण के नारे को पन्ना में साकार कर रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि बाघों से आबाद हो चुके पन्ना टाईगर रिजर्व में बाघों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। ऐसी स्थिति में यहां के बाघ अपने लिये इलाके की खोज करने के लिये कोर क्षेत्र से बाहर निकलकर बफर क्षेत्र में भी जाने लगे हैं। इन परिस्थितियों के मद्देनजर बफर क्षेत्र में विचरण करने वाले बाघों की सुरक्षा पार्क प्रबंधन के सामने एक बड़ी चुनौती के रूप में उभरकर सामने आई है। इस चुनौती से निपटने के लिये पार्क प्रबंधन ने जनभागीदारी से बाघ संरक्षण की सोच को मूर्त रूप देने के लिये अभिनव पहल शुरू की है। इसके तहत वन क्षेत्र से लगे ग्रामों में जागरूकता अभियान चलाने के साथ-साथ ग्रामीणों को पार्क का भ्रमण कराकर उन्हें जंगल की महत्ता व वन्य प्राणियों की उपयोगिता के बारे में बताया जा रहा है। जंगल से वन क्षेत्र के लोगों को क्या लाभ होता है तथा जंगल न होने की स्थिति में उनके जीवन पर किस तरह का प्रभाव पड़ेगा, इस बात को भी उन्हें बड़े ही प्रभावी तरीके से बताया जा रहा है। पार्क प्रबंधन की इस पहल से वन क्षेत्र में निवास करने वाले लोग स्वप्रेरणा से जंगल की सुरक्षा करने लगे हैं।
वन क्षेत्र से लगे ग्राम जरधोवा के ग्रामीणों को जिनमें पुरूष व महिलायें भी शामिल थीं, रविवार को उन्हें जंगल की सैर कराई गई। इसके साथ ही हिनौता प्रवेश द्वार के निकट इन ग्रामवासियों को प्रजेन्टेशन के माध्यम से वन व वन्य जीवों के महत्व से अवगत कराया गया। इस जागरूकता शिविर में सेवानिवृत्त प्रधान मुख्य वन संरक्षक वन्य प्राणी शहवाज अहमद मुख्य रूप से उपस्थित रहे। आप पन्ना टाईगर रिजर्व के क्षेत्र संचालक भी रह चुके हैं। इस शिविर में पन्ना टाईगर रिजर्व के क्षेत्र संचालक के.एस. भदौरिया ने बड़े ही रोचक तरीके से ग्रामीणों को महत्वपूर्ण तथ्यों से अवगत कराया और उनसे कहा कि जंगल को कटने व शिकार की घटनाओं पर रोक लगाने के साथ-साथ हमें आग से भी जंगल को बचाना है। श्री भदौरिया ने ग्रामीणों से हाँथ उठाकर यह शपथ भी दिलाई कि वे अब न तो पेड़ काटेंगे और न ही काटने देंगे। ग्रामीणों ने कहा कि महुआ सीजन में वे अब जंगल में आग नहीं लगायेंगे, यदि किन्हीं कारणों से आग लगती भी है तो उसे तुरन्त बुझाने का पूरा प्रयास करेंगे। भारतीय वन सेवा के वरिष्ठ अधिकारी रहे श्री अहमद ने भी ग्रामीणों को वन व वन्य प्राणियों के संरक्षण हेतु भागीदारी निभाने के लिये प्रेरित किया। इस मौके पर जागरूकता अभियान में मुख्य भूमिका निभाने वाले इन्द्रभान सिंह बुन्देला, अजय चौरसिया के अलावा वन अधिकारी, पत्रकार व ग्रामीण जन उपस्थित रहे।
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