Thursday, June 10, 2021

टाइगर स्टेट मध्य प्रदेश में तैयार हुए आधुनिक रेस्क्यू वाहन

  •  अब बेहतर ढंग से हो सकेगा घायल वन्य प्राणियों का उपचार व परिवहन
  •  नौरादेही वन्य जीव अभ्यारण्य से पन्ना आया यह आधुनिक रेस्क्यू वाहन

आधुनिक सुविधाओं से लैस नये मॉडल वाला रेस्क्यू वाहन। 

।। अरुण सिंह ।।

पन्ना। टाइगर स्टेट मध्य प्रदेश में आधुनिक सुविधाओं से लैस रेस्क्यू वाहन का नया मॉडल तैयार किया गया है। जिससे खुले जंगल में विचरण करने वाले वन्य प्राणियों के घायल व बीमार होने पर उन्हें त्वरित रूप से बेहतर उपचार सुविधा मिल सकेगी। इस नये रेस्क्यू वाहन में वन्य प्राणियों के शरीर को ठंडा रखने के भी पूरे इंतजाम हैं, फलस्वरूप गर्मी के मौसम में दिन के समय भी वन्य प्राणियों को एक स्थान से दूसरे स्थान तक सुविधा पूर्वक ले जाया जा सकेगा। बाघों के लिए प्रसिद्ध मध्यप्रदेश के पन्ना टाइगर रिजर्व में अभी हाल ही में नौरादेही वन्य जीव अभ्यारण्य से नए मॉडल का यह रेस्क्यू वाहन मंगाया गया है।

 क्षेत्र संचालक पन्ना टाइगर रिजर्व उत्तम कुमार शर्मा ने बताया कि पूर्व के रेस्क्यू वाहन में सुधार करके आधुनिक सुविधाओं से लैस यह नया मॉडल तैयार किया गया है। नये मॉडल वाले इस रेस्क्यू वाहन की उपलब्धता से अब गर्मियों में भी एनिमल को किसी भी समय आराम से ट्रांसपोर्ट किया जा सकेगा। अभी तक ऐसा करने के लिए ठंडे मौसम का इंतजार करना पड़ता था। श्री शर्मा ने बताया कि वन्य प्राणियों को सही समय पर सुरक्षित उनके रहवास स्थल तक पहुंचाया जा सके, इस बात को ध्यान में रखते हुए रेस्क्यू वाहन को डिजाइन कराया गया है। क्षेत्र संचालक श्री शर्मा ने बताया कि नये मॉडल वाला यह रेस्क्यू वाहन पन्ना टाइगर रिजर्व को भी मिले, इसके लिए ऊपर पत्र व्यवहार किया गया है। आपने बताया कि उम्मीद है पन्ना की जरूरतों को देखते हुए यह रेस्क्यू वाहन हमें शीघ्र आवंटित हो जायेगा।


 वन प्राणी चिकित्सक डॉक्टर संजीव कुमार गुप्ता ने बताया कि वर्ष 2008 में पन्ना टाइगर रिजर्व को जो वाहन मिला था, उसमें ऐसी सुविधाएं नहीं हैं। नये मॉडल वाले रेस्क्यू वाहन की विशेषताओं का जिक्र करते हुए डॉक्टर गुप्ता ने बताया कि वन्य प्राणी के शरीर को ठंडा रखने के लिए इसमें पानी के फव्वारे लगे हैं। इसके अलावा वाहन में पंखे भी लगे हुए हैं, जिससे कि वन्य प्राणी को असुविधा और परेशानी न हो, उसे आराम मिले। रेस्क्यू वाहन में मौजूद वन्य प्राणी की हर गतिविधि पर नजर रखने के लिए सीसीटीवी कैमरे भी लगे हुए हैं। आगे सीट पर बैठे रेस्क्यू दल के लोग वन्य प्राणी को बिना डिस्टर्ब किए स्क्रीन पर उसकी हर गतिविधि को देख सकेंगे। इस तरह के अभी पांच वाहन तैयार हुए हैं, जो देश में सिर्फ मध्य प्रदेश के पास हैं।

पन्ना रेस्क्यू टीम के कार्य क्षेत्र में चार जिले शामिल

बुंदेलखंड क्षेत्र के चार जिलों पन्ना, छतरपुर, दमोह व टीकमगढ़ यहां की रेस्क्यू टीम के कार्य क्षेत्र में आते हैं। इस पूरे इलाके में वन्य प्राणियों से संबंधित कोई भी घटना होती है तो पन्ना की रेस्क्यू टीम पहुंचती है। इस टीम में 11 सदस्य होते हैं, जिसमें उपसंचालक, सहायक संचालक, परीक्षेत्र अधिकारी, फॉरेस्ट गार्ड, वन्य प्राणी चिकित्सक सहित अन्य वन कर्मचारी होते हैं जो रेस्क्यू कार्य में दक्ष होते हैं। इस 11 सदस्यीय रेस्क्यू टीम का चयन क्षेत्र संचालक करते हैं, जो हर साल अपडेट होती है। रेस्क्यू टीम में शामिल सभी कर्मचारियों का 7 लाख रुपए का बीमा भी होता है। पन्ना रेस्क्यू टीम के विस्तृत कार्य क्षेत्र को द्रष्टिगत रखते हुए आधुनिक सुविधाओं से लैस रेस्क्यू वाहन की स्थाई रूप से उपलब्धता बेहद जरुरी है। ताकि इस पूरे वन क्षेत्र के वन्य प्राणियों के उपचार व संरक्षण में इसका उपयोग हो सके।

 पन्ना में हुआ फ्री रेजिंग बाघों का सर्वाधिक ट्रेंकुलाइजेशन


बाघ को बेहोश कर उसे रेडियो कॉलर करती पन्ना टाइगर रिज़र्व की रेस्क्यू टीम। 

मध्यप्रदेश के पन्ना टाइगर रिजर्व में बीते 10 वर्षों के दौरान फ्री रेजिंग बाघों का सर्वाधिक ट्रेंकुलाइजेशन हुआ है। दुनिया में अन्यत्र कहीं भी ऐसा नहीं हुआ। पन्ना टाइगर रिजर्व में बने इस रिकॉर्ड को गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी भेजा गया है। वन्य प्राणी चिकित्सक डॉ. संजीव कुमार गुप्ता ने बताया कि विभिन्न कारणों से उनके द्वारा 70 बार बाघों को ट्रेंकुलाइज किया जा चुका है।

 मालुम हो कि दुनिया में सबसे ज्यादा बाघ भारत में और भारत में सबसे अधिक बाघ मध्य प्रदेश में पाए जाते हैं। इस लिहाज से प्रदेश में बाघों के संरक्षण हेतु जो भी अनोखे और अभिनव प्रयोग होते हैं, उस पर न सिर्फ पूरी दुनिया का ध्यान आकृष्ट होता है बल्कि नए रिकॉर्ड भी मध्यप्रदेश में ही बनते हैं। बाघों को बेहोश कर उन्हें रेडियो कॉलर पहनाने के मामले में भी पन्ना टाइगर रिजर्व अग्रणी है। यहां अनाथ व अर्ध जंगली दो बाघिनों को जंगली बनाने का भी सफल प्रयोग हो चुका है। अभी हाल ही में नर बाघ पी-243 द्वारा चार अनाथ बाघ शावकों की परवरिश किए जाने का मामला भी पन्ना टाइगर रिजर्व का है, जिसने देश भर के वन्यजीव प्रेमियों का ध्यान आकृष्ट किया है।

वीडियो - रेस्क्यू वाहन में उपलब्ध सुबिधाओं का द्रश्य -




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