Thursday, November 27, 2025

बाल विवाह के विरूद्ध 100 दिवसीय जन जागरूकता अभियान आरंभ

बाल विवाह की प्रथा समाज के लिए अभिशाप है, आइये इस कुप्रथा को समाप्त करें।  

पन्ना। बाल विवाह के विरूद्ध जन जागरूकता के लिए 100 दिवसीय अभियान का आगाज आज गुरुवार 27 नवम्बर से हो रहा है। बाल विवाह का अर्थ है जब लड़के की उम्र 21 वर्ष से कम और लड़की की उम्र 18 वर्ष से कम हो, तो उनका विवाह हो जाए। भारत में बाल विवाह एक गंभीर सामाजिक समस्या है जिस पर रोक लगाने के लिए बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम, 2006 लागू है, जिसके अनुसार लड़की की न्यूनतम आयु 18 और लड़के की 21 वर्ष है। इसके दुष्परिणामों में स्वास्थ्य जोखिम, शिक्षा में बाधा और हिंसा का खतरा शामिल है।

महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा बाल विवाह की प्रथा को समाप्त करने के उद्देश्य से बाल विवाह मुक्त भारत अभियान की शुरूआत 27 नवम्बर 2024 को की गई थी। अभियान के एक वर्ष पूर्ण होने पर एवं बाल विवाह मुक्त भारत की दिशा में तेजी लाने के लिए अब संपूर्ण देश में 100 दिवसीय इंटेंसिव थीम वाला अभियान 27 नवम्बर 2025 से आरंभ होगा। यह अभियान आगामी अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 8 मार्च तक निरंतर रूप से संचालित किया जाएगा। सेचुरेशन अप्रोच के साथ आयोजित होने वाले इस अभियान में प्रत्येक चिन्हित संस्था, सामुदायिक स्थल व सेवा प्रदाता तक पहुँच सुनिश्चित की जाएगी। कलेक्टर ऊषा परमार ने अभियान के क्रियान्वयन के लिए जिला शिक्षा अधिकारी, जिला संयोजक, जनपद पंचायत सीईओ, बाल विकास परियोजना अधिकारी तथा प्राचार्य शासकीय महाविद्यालय को आवश्यक निर्देश जारी किए हैं।

जिला कार्यक्रम अधिकारी अवधेश कुमार सिंह ने बताया कि अभियान का शुभारंभ गुरूवार को विशाखापट्टनम में आयोजित राष्ट्रीय कार्यक्रम से होगा। इस अवसर पर पूरे देश में एक सामूहिक शपथ के माध्यम से भारत को बाल विवाह मुक्त बनाने के संकल्प को पुनः दोहराया जाएगा। कैंपेन का पहला चरण 27 नवम्बर से 31 दिसम्बर तक शैक्षणिक संस्थाओं के माध्यम से जनजागरूकता पर केन्द्रित होगा, जबकि द्वितीय चरण में एक से 26 जनवरी तक धार्मिक स्थानों और विवाह से जुड़े सर्विस प्रोवाइडर्स पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। 

इसमें मंदिर, मस्जिद, चर्च, गुरूद्वारा, वेडिंग हॉल, बैन्ड पार्टी, डीजे, कैटरर और टेंट हाउस शामिल हैं। इस दौरान स्थानीय पुलिस और कम्युनिटी वालेंटियर्स के साथ वैवाहिक सीजन में सघन निगरानी सुनिश्चित की जाएगी। तृतीय तथा अंतिम चरण में एक फरवरी से 8 मार्च तक समुदाय स्तर पर जुड़ाव और ओनरशिप को मजबूत करने के लिए ग्राम पंचायत और नगरीय क्षेत्रों के वार्डों में गतिविधियों का आयोजन कर फोकस किया जाएगा।

00000 

No comments:

Post a Comment