युवा इंजीनियर प्रशांत सोनी ने पथरीली जमीन पर एलोवेरा और नीबू की फायदेमंद खेती से तीन गुना आमदनी की मिसाल कायम की है। कटनी जिले में रीठी विकासखण्ड के ग्राम मुरावल निवासी इस इंजीनियर को उद्यानिकी विभाग के विशेषज्ञों ने हर कदम पर मार्गदर्शन दिया। प्रशान्त के पास गाँव में लगभग 8 एकड़ पैतृक पथरीली जमीन है। इस पर लम्बे समय से खेती नहीं हो पा रही थी। प्रशांत ने परम्परागत खेती की लीक से हटकर उद्यानिकी फसल लेने का मन बनाया।
उद्यानिकी विभाग के विशेषज्ञों की सलाह पर प्रशांत ने पथरीली जमीन में सिंचाई के लिये बोरिंग कराकर स्प्रिंकलर सेट लगाये। खेत के 3 एकड़ में एलोवेरा के 38 हजार पौधे और 3 एकड़ में 1100 नीबू के पौधे लगाए। एलोवेरा से 72 टन उत्पादन की संभावना है। प्रशान्त ने लखनऊ की आयुर्वेद औषधि निर्माता कम्पनी से 6 से 10 रुपये प्रति किलो ग्राम की दर से एलोवेरा बेचने का करारनामा भी कर लिया है। नीबू की फसल से अगले साल से उत्पादन शुरू होगा। प्रशान्त का मानना है कि उद्यानिकी और कृषि अर्न्तवर्ती फसलों से हमेशा अच्छी आमदनी होती है। इसमें जोखिम भी बहुत कम रहता है।
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